अखंड राजपूताना सेवा संस्थान की क्षत्रिय कल्याण के लिए हुई आवश्यक बैठक

क्षत्रिय युवक संघ के शिविर जगह जगह लगाने से युवा संस्कारी और साहसी बनेंगे
गाजियाबाद (एसपी चौहान)।
      अखंड राजपूताना सेवा संस्थान की एक बैठक संस्था के स्थानीय कार्यालय कौशांबी में आयोजित हुई, जिसमें पूज्य तन सिंह जी के जन्म शताब्दी वर्ष के आयोजन में अखंड राजपूताना सेवा संस्थान की भूमिका प्रमुख मुद्दा रहा।  इस संबंध में लोगों ने अपने विचार व्यक्त किये जिसमें महत्वपूर्ण विषय यह था कि संगठन को खुलकर क्षेत्रीय युवक संघ के शीर्ष नेत्रत्व से वार्ता करनी चाहिए और क्षत्रियों के उत्थान के संबंध में कदम उठाये जाने चाहिए।दूसरे विषय संस्था के अपने निजी थे। जिममें वैवाहिक परिचय सम्मेलन, दक्षिण भारत का एक आध्यात्मिक आयोजन, वीर शिरोमणि  महाराणा प्रताप की मूर्ति की स्थापना के संबंध में चर्चा थी। मूर्ति के अनावरण के लिए जरूरी प्रबंध करने पर विचार- विमर्श हुआ।
बैठक में संस्थान के अध्यक्ष केपी सिंह बताया कि उन्होंने क्षत्रिय युवक संघ के नेहरू स्टेडियम दिल्ली में आयोजित पूज्य तन सिंह जी के जन्मशताब्दी वर्ष पर जनसंपर्क और प्रचार के लिए जो सहयोग किया था उसका अपेक्षित लाभ संस्थान को नहीं मिला तथा क्षत्रिय संघ  दिल्ली और पश्चिम उत्तर प्रदेश के लोगों को उचित सम्मान देने में विकल रही। इस संबंध में प्रस्ताव पास हुआ कि संस्था का एक प्रतिनिधिमंडल  क्षेत्रिय युवक संघ के शीर्ष नेत्रृत्व से मिले और उसमें क्षत्रियों के कल्याण के संबंध में  विचार विमर्श करे तथा उनसे जगह-जगह क्षत्रिय युवक संघ के शिविर लगाने के लिए प्रस्ताव दे। बैठक में इस बात पर प्रसन्नता जाहिर की कि क्षत्रिय युवक संघ के कार्यक्रम में भले ही संख्या सवा लाख के करीब रह गई हो जो 10 लाख अपेक्षित थी, लेकिन जिस तरह से इस कार्यक्रम के लिए व्यवस्था हुई वह  काबिले तारीफ थी। इस बात पर अप्रसन्नता जरूर जाहिर हुई कि इस कार्यक्रम के प्रचार और प्रचार के लिए मीडिया का सहयोग लेने में हम  बिफल रहे।    
      डॉक्टर वीपी सिंह ने अपना विचार दिया कि क्षत्रिय युवक संघ से एक प्रतिनिधिमंडल मिले और क्षत्रिय कल्याण के लिए योजना तैयार की जाए। योगेश चौहान ने क्षत्रिय आयोग की मांग की। उधर जेएन सिंह ने बताया कि क्षत्रिय युवक संघ 365 दिन लगातार क्षत्रिय कल्याण में लगा रहने वाला संगठन है, जिसके स्वयंसेवक अपने सेवा कार्य को प्राथमिकता देते हैं। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक की तरह क्षत्रिय युवक संघ भी समाज कल्याण के प्रति समर्पित संस्था है। डा.वीपी सिंह ने कहा  कि जो भी लोग संपर्क में आयें उनसे क्षत्रिय युवक संघ की चर्चा की जाए यानी क्षत्रियों को क्षत्रिय युवक संघ से परिचित कराकर उन्हें जोड़ा जाए। उन्होंने यह भी माना कि क्षत्रिय युवक संघ क्षत्रिय संगठनों के लिए केंद्रीय नेतृत्व के लिए एक अच्छा संगठन साबित हो सकता है। समाज सेवा तभी सफल हो पाएगी जब हमारी नई पौध संस्कार और अच्छे स्वास्थ्य के साथ तैयार होगी। इसके लिए क्षत्रिय युवक संघ  के शिविर जगह लगाने होंगे जिससे हमारे युवक वहां से अच्छा प्रशिक्षण लेकर अच्छे नागरिक बन सकें। 
     दूसरा विषय परिचय सम्मेलन का था ,जो फरीदाबाद में आयोजित होना है। केपी सिंह ने बताया कि इस बार उनकी योजना इस तरह की है कि जो 5-10 परिवार उनसे वर्षों से जुड़े हैं और उनके बच्चों की शादियां नहीं हो पा रही हैं ऐसे बच्चों के लिए योग्य जीवन साथी तलाश कर परिचय सम्मेलन के पंडाल में ही शादी संपन्न कराई जाय। यह प्रस्ताव  सर्व सम्मति से पास हुआ । 
     इस अवसर पर डॉक्टर वीपी सिंह ने इस बात पर अफसोस प्रकट किया कि कुछ लोग अपनी बेटियों के बायोडाटा तो देते हैं योग्य वर्ग के लिए ,लेकिन अपने बेटों के बायोडाटा शेयर नहीं करते। इसमें वै अपना अपमान समझते   हैं।
 तीसरा विषय  था 25 फरवरी को चेन्नई में होने वाले आध्यात्मिक सम्मेलन में शामिल होने का ।इसमें उत्तर भारत से अखंड राजपूताना सेवा संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष केपी सिंह ,गाजियाबाद दूधेश्वर नाथ मंदिर के महंत  नारायण गिरी तथा पूज्य संत वह महामंडलेश्वर श्री श्री 1008 स्वामी विज्ञानानंद जी महाराज (हरिद्वार)भाग लेंगे। इस सम्मेलन में आध्यात्मिक गुरु पहुंचकर क्षत्रियों के कल्याण के संबंध में चिंतन करेंगे। अन्य लोग भी इस सम्मेलन भाग ले सकते हैं लेकिन इसके लिए उन्हें पहले अपना प्रस्ताव देना पड़ेगा।
 चौथा विषय मूर्ति स्थापना का था। केपी सिंह ने बताया कि 25 फरवरी को मूर्ति बनकर तैयार हो जाएगी और 8 मार्च शिवरात्रि का दिन मूर्ति की स्थापना का रखा गया है। इस समारोह का निमंत्रण पत्र उन्होंने स्थानीय विधायक सुनील शर्मा ,प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और स्थानीय सांसद व केंद्रीय मंत्री डॉ वीके सिंह को दे दिया है और उन्होंने आमंत्रण स्वीकार कर लिया है। लेकिन अभी योगी आदित्यनाथ जी की स्वीकृति प्राप्त नहीं हुई है।
    वीर शिरोमणि महाराणा प्रताप के परिवार को भी इस आयोजन में बुलाने का लक्ष है। करीब 500 लोग राजपूत समाज के प्रमुख लोग होंगे और 20 से 25हजार लोगों की इस उद्घाटन समारोह में पहुंचने की उम्मीद है। उन्होंने बताया कि जीएसटी लगाकर 18 लाख की मूर्ति हमें पड़ेगी जिसमें उन्होंने 12लाख 50हजार  मूर्तिकार को दे दिए हैं ,उनकी संस्था के अकाउंट में डेढ़ लाख रुपए जमा है।  4लाख रुपये मूर्तिकार को और देने हैं। 5लाख के करीब  उद्घाटन समारोह में खर्च होने  का अनुमान है।
     केपी सिंह इस बात पर अफसोस प्रकट किया कि कुछ समाज के संभ्रांत लोगों ने मूर्ति के लिए जो दान देने का घोषणा मंच से की थी वह एक पैसा भी नहीं दे रहे। इस अवसर पर 50हजार रुपए देने की घोषणा योगेश चौहान ने की,1लाख रुपए जेएन सिंह ने दिलाने के लिए स्वीकार किया,5100 देवेंद्र तोमर वसुंधरा वालों ने दिलाने के लिए वचन दिया, 30हजार और डॉक्टर वीपी सिंह ने अपनी ओर से देने के लिए कहा, वे पहले ही 21000 रुपए दान दे चुके हैं।अजय चौहान ने बताया कि वह भी अपनी तरफ से दान देंगे लेकिन दान की राशि कितनी होगी यह स्पष्ट नहीं की।1लाख रुपए संस्था के महासचिव वीपी सिंह ने दिलाने की बात कही जबकि वे अपनी तरफ से पहले ही 1लाख रुपए 0 दान दे चुके हैं ,1लाख रुपए केपी सिंह ने अपनी ओर से और दिलाने की बात कही है। एमपी सिंह ने आवाहन किया कि समाज के लोग इस काम में आगे आए और जितना हो सके दान दें। इस अवसर पर एक महत्वपूर्ण विषय यह भी आया कि क्षत्रिय समाज के लोगों के अलावा अन्य समाज से दान लिया जाए अथवा नहीं लिया जाए। लंबी चर्चा के बाद यह तय हुआ कि समाज से बाहर के लोगों से यदि दान लिया जाता है तो इससे कुछ लोगों की भावना आहत हो सकती हैं। अतः समाज से अलग लोगों से दान ना लिया जाए। हां अगर किसी अन्य समाज के व्यक्ति द्वारा संस्था को सहयोग दिया गया है तो उसका नाम शिला पट पर लिखा जाना चाहिए।
बैठक की अध्यक्षता केपी सिंह ने की तथा संचालन राष्ट्रीय महासचिव वीपी सिंह द्वारा किया गया। बैठक में शामिल अन्य लोगों में दीप तोमर, अजय तोमर ,देवेंद्र तोमर, बीबी सिंह, वाईके चौहान ,डॉक्टर वीपी सिंह, अजय चौहान,श्रीमती नीरज चौहान, जितेंद्र नारायण सिंह, सुप्रिया भदोरिया, सीमा भदोरिया, एसके सिंह, एमपी सिंह नोएडा, एसपी चौहान,नीलू सिंह तथा आरपी सिंह आदि थे।

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